Darbhanga: वक्फ संशोधन बिल के विरोध में शनिवार को दरभंगा में मुस्लिम समुदाय के हजारों लोग सड़कों पर उतर आए। इस विरोध प्रदर्शन की शुरुआत मदरसा हमीदिया, किलाघाट से एक विशाल जुलूस के रूप में हुई, जिसमें बड़ी संख्या में मुस्लिम पुरुषों के साथ-साथ महिलाएं भी शामिल हुईं। इस प्रदर्शन को महागठबंधन के नेताओं और विभिन्न संगठनों का भी समर्थन प्राप्त हुआ।
प्रदर्शनकारियों ने हाथों में बैनर और पोस्टर लेकर वक्फ संशोधन बिल को “काला कानून” बताया और सरकार से इसे तुरंत वापस लेने की मांग की। जुलूस शहर के प्रमुख मार्गों से होता हुआ जिला मुख्यालय लहेरियासराय पहुंचा, जहां यह एक जनसभा में तब्दील हो गया।
सभा को संबोधित करते हुए वक्ताओं ने कहा कि केंद्र सरकार इस बिल के माध्यम से मुस्लिम समुदाय की संपत्तियों पर कब्जा करना चाहती है। वक्ताओं ने आरोप लगाया कि यह बिल मुस्लिम समाज के धार्मिक और सामाजिक ढांचे में हस्तक्षेप करने की साजिश है। उन्होंने यह भी कहा कि शरियत में किसी भी प्रकार की दखलअंदाजी को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
महिलाओं की बड़ी भागीदारी ने इस विरोध प्रदर्शन को विशेष महत्व दिया। वे भी हाथों में तख्तियां लेकर बिल को वापस लेने की मांग करती नजर आईं। सभा में वक्ताओं ने चेतावनी दी कि यदि सरकार ने यह बिल वापस नहीं लिया, तो आगे और बड़ा जनांदोलन छेड़ा जाएगा, जैसा कि पहले CAA और NRC के खिलाफ हुआ था।
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प्रदर्शनकारियों ने साफ किया कि यह आंदोलन शांतिपूर्ण रहेगा, लेकिन उनकी मांगें पूरी न होने की स्थिति में चरणबद्ध आंदोलन की रणनीति अपनाई जाएगी।
दरभंगा में हुए इस विरोध प्रदर्शन से यह स्पष्ट है कि वक्फ संशोधन बिल को लेकर मुस्लिम समुदाय में गहरा असंतोष है, और यह मुद्दा आने वाले समय में और बड़ा रूप ले सकता है।